हिंदियाकला के बिरहोर युवाओं से उत्तर प्रदेश में कराया जा रहा बंधुआ मजदूरी” शीर्षक से प्रकाशित खबर तथ्यविहीन है : श्रम अधीक्षक


Chatra : हिंदियाकला के बिरहोर युवाओं से उत्तर प्रदेश में कराया जा रहा बंधुआ मजदूरी” शीर्षक से प्रकाशित खबर प्रकाश में आने पर जिले के उपायुक्त श्री रमेश घोलप ने मामले को संज्ञान में लेते हुए अरविन्द कुमार, श्रम अधीक्षक, चतरा को उक्त मामले में जांच एवं नियमानुसार कार्रवाई हेतु निर्देश दिया। श्रम अधीक्षक द्वारा दिनांक 25 मार्च 2025 को जिले के प्रतापपुर प्रखण्ड अन्तर्गत हिंदियाकला एवं सुरही टोला का दौरा कर वहाँ के बिरहोर जाति के लोगो से पुछताछ किया गया। जाँच के क्रम में पाया गया कि वे लोग अपनी ईच्छा से उत्तर प्रदेश में काम करने गए हैं। वे वहाँ गन्ना के खेत में काम करते हैं और उन्हें वहाँ किसी भी प्रकार का कोई दिक्कत नहीं है। वे नियमित रूप से दूरभाष पर अपने परिवार से बात करते हैं, तथा समय समय पर वे पैसे घर भेजते हैं। उनमें से फुलेश्वर बिरहोर, धनेश्वर बिरहोर, राजदीप बिरहोर, आशिष बिरहोर इत्यादि घर आ चुके है। लौटने वाले श्रमिको के द्वारा बताया गया कि वे लोग उत्तर प्रदेश के अलावा महाराष्ट्र में भी काम के लिए जाते है। सरभु बिरहोर की पत्नी श्रीमति रीता देवी के द्वारा बताया गया कि उत्तर प्रदेश के गन्ना खेतो में मेरे पति और मेरा भाई रविन्द्र बिरहोर काम करते है उन्हे वहाँ कोई दिक्कत नहीं है। फोन पर बात भी होती है एवं समय समय पर पैसे भी भेजते है और वे जल्दी घर आने वाले भी है। मसो० निलम बिरहोरिन पति स्व० नागेष्वर बिरहोर द्वारा बताया गया कि उनके तीन बेटे रामस्वरूप बिरहोर, पुनक बिरहोर, अमित बिरहोर मुरादाबाद में गन्ना खेत में काम करते हैं। उन्हे वहाँ किसी भी तरह का कोई दिक्कत नहीं है। फोन पर बात भी होती है। समय समय पर पैसे भी भेजते है और वे अगले माह घर वापस आने वाले है। अमित बिरहोर उर्फ विकास बिरहोर से फोन पर बात भी हुई उनके द्वारा बताया गया कि ऐसी कोई बात नहीं है। हम लोग अपनी ईच्छा से आए है और अगले महिने की 15वीं तिथि तक घर आने वाले है। श्रम अधीक्षक द्वारा स्पष्ट किया गया कि प्रकाशित खबर तथ्यविहीन है एवं श्रमिकों के बंधुआ मजदूर के रूप में कार्य करने की बात सही नहीं है।