लावालौंग के बघमरी में सड़क बनी नाला, लोगों का आवागन ठप,ग्रामीणों के द्वार इस सड़क को श्रमदान कर किए थे मरम्मत


Chatra : लावालौंग प्रखंड क्षेत्र के अंतर्गत मंधनियां पंचायत के ग्राम हुटरू टोला बघमरी में लगातार बारिश होने से लगभग सौ मीटर की दूरी तक रास्ते नाला में तब्दील हो गई है यूं ही कहे तो छोटी नदी बनकर पानी बह रही है और लोगों की आवा गमन ठप है जानकारी हो कि यह गांव प्रखंड मुख्यालय से लगभग महज एक किलोमीटर की दूरी में स्थित है। इस गांव की दुर्भाग्य है कि आज भी 77 साल पहले की तरह लोग महसूस कर रहे हैं, जानकारी हो की इस गांव से पूरब की ओर प्रखंड मुख्यालय है तो पश्चिम की ओर पंचायत मुख्यालय है और गांव से सट्टे लावालौंग से पांकी जाने वाली मुख्य सड़क हैं इस सड़क से प्रतिदिन कई नेता, जनप्रतिनिधि व अधिकारी आवागमन करते हैं लेकिन इस गांव को अनदेखा करते हुए गुजर जाते है और कोई खोज खबर भी नहीं है।
यह रास्ता पूर्व में दो बार श्रमदान कर की गई थी मरम्मत
यह गांव लावालौंग से पांकी जाने वाली मुख्य सड़क से निकली है और सड़क से गांव तक की दूरी लगभग 700 फीट है और बीच में एक छोटी सी नदी है पूर्व में 30 जनवरी 2025 को मुख्य सड़क से नदी तक लगभग 400 फीट ग्रामीणों ने चंदा जमा कर जेसीबी मशीन से मरम्मत कराई थी इसके बाद 3 जून 2025 को 300 फीट नदी से लेकर गांव की चबूतरा तक मरम्मत की गई रास्ते खाई में तब्दील हो गई है। और आवागमन में लोगों की काफी परेशानी हो रही है
क्या कहते हैं बघमरी के ग्रामीण
गांव के किसी भी व्यक्ति को इलाज करने के लिए जब घर से बाहर जाना पड़ता है तो इस रास्ते में रोगी को कंधों पर लेकर पैदल लोग चलते हैं और रास्ते में भी कभी बाएं तो कभी दाएं होकर चलते हैं काफी परेशानी गर्भवती महिलाओं को उठानी पड़ती है टीकाकरण के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र लावालौंग में जाने समय काफी परेशानी होती है बच्चे भी इसी रास्ते से विद्यालय जाने को मजबूर है। यानी सड़क के लिए लोग त्रस्त हैं और नेता,अधिकारी अपने कुर्सी में मस्त है।
ग्रामीणों की क्या मांग है
ग्रामीणों का कहना है कि गांव से प्रखंड मुख्यालय जाने वाली मात्र एक यही सड़क है यही रास्ते से आते जाते हैं और यह रास्ते नदी सरोवर में तब्दील हो गई है इस वर्ष की बारिश में और कितनी खाई होगी यह कहना भी मुश्किल है हम सभी ग्रामीण स्थानीय जनप्रतिनिधियों तथा प्रखंड प्रशासन व जिला प्रशासन से मांग करते हैं कि जल्द ही यह सड़क को पीसीसी निर्माण कर बनाई जाए और यह नदी में एक पुल भी निर्माण की जाए वहीं कुछ ग्रामीणों का कहना है दो से दिन बार में मुखिया के द्वारा भी पीएससी सड़क बनाई जा सकती थी लेकिन इस गांव के लिए स्थानीय जनप्रतिनिधि भी नजर अंदाज करते आ रहे हैं।
लावालौंग, संवाददाता,मो० साजिद